
*संपूर्ण क्रांति के पुरोधा जयप्रकाश नारायण की जयंती मनाई गाज़ीपुर कायस्थ महासभा ने**

GRNews Network editor in chief ved Parkash Srivastava
गाज़ीपुर,आज दिनांक 11 अक्टूबर को अखिल भारतीय कायस्थ महासभा के तत्वावधान में गोराबाजार स्थित उनकी प्रतिमा स्थल पर माल्यार्पण कार्यक्रम एवं विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम का आयोजन संपूर्ण क्रांति के पुरोधा लोकनायक जयप्रकाश नारायण की जयंती पर किया गया।
इस अवसर पर महासभा के सभी कार्यकर्ताओं ने देश की आजादी की रक्षा करने एवं सार्वजनिक जीवन में नैतिकता और ईमानदारी से काम करने का संकल्प लिया। प्रतिमा पर माल्यार्पण के बाद गोराबाजार में ही डॉ. पी.के. श्रीवास्तव के आवास पर विचार गोष्ठी हुई।
गोष्ठी में बतौर मुख्य वक्ता मुक्तेश्वर प्रसाद श्रीवास्तव, प्रान्तीय उपाध्यक्ष, ने लोकनायक के व्यक्तित्व व कृतित्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि वे न केवल एक महान समाजवादी नेता थे, बल्कि एक सच्चे स्वतंत्रता संग्राम सेनानी भी रहे। उन्होंने पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की तानाशाही के खिलाफ संपूर्ण क्रांति का आह्वान किया था। इस आंदोलन की तपिश से पूरे देश में जनज्वार उठ खड़ा हुआ था और केंद्र में कांग्रेस सरकार को सत्ता से हटना पड़ा था।
उन्होंने बताया कि संपूर्ण क्रांति में सात क्रांतियां शामिल थीं—जिनमें भ्रष्टाचार मिटाना, बेरोजगारी दूर करना और शिक्षा में सुधार जैसी बातें प्रमुख थीं।
महासभा के संरक्षक प्रेम कुमार श्रीवास्तव ने श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि आज के समय में देश को जयप्रकाश जी जैसे नेता की जरूरत है, जो देश को सांप्रदायिकता और जातिवाद से बाहर निकाल सके।
कार्यक्रम की अध्यक्षता कर रहे जिलाध्यक्ष अरुण कुमार श्रीवास्तव ने कहा कि जयप्रकाश नारायण केवल एक महान स्वतंत्रता सेनानी और राजनेता ही नहीं, बल्कि एक संत थे जिन्हें सत्ता का मोह कभी नहीं रहा। वे जीवन के अंतिम क्षण तक गरीबों और राष्ट्र के सम्मान के लिए समर्पित रहे। उन्हें “लोकनायक” के नाम से जाना गया और उन्होंने भूमि सुधार के लिए भूदान आंदोलन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। 1970 के दशक में वे शांतिपूर्ण आंदोलन के प्रतीक बन गए। मरणोपरांत 1999 में उन्हें भारत रत्न से सम्मानित किया गया।
इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से पियूष श्रीवास्तव, चन्द्र प्रकाश श्रीवास्तव, मनीष श्रीवास्तव, प्रदीप श्रीवास्तव उर्फ राजन, संजीव श्रीवास्तव उर्फ गप्पू, गौरव दत्त, आनंद श्रीवास्तव आदि उपस्थित रहे।गोष्ठी का संचालन जिला महामंत्री अरुण श्रीवास्तव ने किया।